मृत्यु – Mrityu: Jaanen Ek Mahayogi Se (Book)

    आपको बहुत गंभीर होने की जरूरत नहीं है, क्योंकि जीवन क्षणिक है, एक बुलबुले की तरह, पर आपकी मृत्यु बहुत लंबे समय के लिए होगी। 

    किताब के बारे में 

    विश्व की अधिकतर संस्कृतियों में मृत्यु पर चर्चा को अशुभ माना जाता है। लोग इसके बारे में बात करने से बचना चाहते हैं। लेकिन अगर मृत्यु विनाशक न होकर, जीवन के एक अहम पहलू के रूप में, हमारे सामने भरपूर आध्यात्मिक संभावनाएं लेकर खड़ी हो जाए तो? और यदि मृत्यु से जुड़ी हमारी सभी मान्यताएं गलत साबित हो जाएँ तो? पहली बार कोई मृत्यु के बारे में ठीक यही बात कह रहा है।

     इस अनूठी पुस्तक में, सद्‌गुरु मृत्यु के अनकहे, अनजाने पहलुओं पर चर्चा करते हुए, अपने आंतरिक अनुभव से इसके कई रहस्यों को उजागर कर रहे हैं। व्यावहारिक स्तर पर अपनी अंतर्दृष्टि साझा करते हुए, वे हमें बताते हैं कि हम कैसे एक अच्छी मृत्यु की तैयारी कर सकते हैं, एक मरते इंसान के लिए हम सबसे अच्छी चीज़ क्या कर सकते हैं और मृत्यु के बाद मृतक की आगे की यात्रा को सुखद बनाने कि लिए हम क्या-क्या कर सकते हैं।

     चाहे कोई आस्तिक हो या नास्तिक, कोई भक्त हो या ज्ञानी, कोई साधक हो या भोगी, यह पुस्तक उन सभी के  लिए है, जो एक दिन मरेंगे।

    Details

    • Publisher ‏ : ‎ Hind Pocket Books (28 June 2021)
    • Language ‏ : ‎ Hindi
    • Paperback ‏ : ‎ 340 pages
    • ISBN-10 ‏ : ‎ 0143453637
    • ISBN-13 ‏ : ‎ 978-0143453635
    • Item Weight ‏ : ‎ 280 g
    • Dimensions ‏ : ‎ 20 x 14 x 4 cm
    • Country of Origin ‏ : ‎ India

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